अतिरिक्त मुख्य सचिव सुधीर राजपाल ने सभी उपायुक्तों के साथ की बैठक
हरियाणा में लिंगानुपात सुधारने के लिए दिए सख्त निर्देश
चंडीगढ़, 14 मई।
सुनील कुमार जांगड़ा.
हरियाणा में लिंगानुपात सुधारने के लिए प्रदेश में किए जा रहे प्रयासों की समीक्षा करने हेतु स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री सुधीर राजपाल ने आज राज्य के सभी उपायुक्तों के साथ बैठक कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। बैठक में कन्या भ्रूण हत्या पर अंकुश लगाने के प्रयासों को तेज करने और ‘बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ’ अभियान के तहत उपायों को मजबूत करने पर ध्यान केंद्रित किया गया।
बैठक के दौरान, अतिरिक्त मुख्य सचिव ने निर्देश देते हुए कहा कि उपायुक्त इस मिशन को व्यक्तिगत प्राथमिकता दें और कन्या भ्रूण हत्या की समस्या से निपटने के लिए व्यापक कदम उठाएं। दीर्घकालिक परिणाम प्राप्त करने के लिए जमीनी स्तर पर निरंतर कार्रवाई किया जाना महत्वपूर्ण है।
राज्य सरकार द्वारा किए जा रहे प्रयासों के तहत, उपायुक्तों की अध्यक्षता में जिला स्तरीय स्थायी समितियों का गठन किया जा रहा है और मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) इसके सदस्य सचिव होंगे। इन समितियों का उद्देश्य निगरानी, प्रवर्तन और समन्वय को मजबूत करते हुए राज्य में लिंगानुपात को बेहतर बनाना है। इन समितियों को हर सप्ताह बैठकें करने, एमटीपी किट की बिक्री, एमटीपी और अल्ट्रासाउंड केंद्रों की जांच तथा लिंग निर्धारण तथा कन्या भ्रूण हत्या पर अंकुश लगाने के लिए रणनीति तैयार करने का निर्देश दिया गया है।
अतिरिक्त मुख्य सचिव ने कहा कि अवैध गर्भपात का मुद्दा एक सामाजिक चुनौती है, जिसके लिए सरकार के समग्र दृष्टिकोण के साथ-साथ समाज के सभी वर्गों की सक्रिय भागीदारी की आवश्यकता है। उन्होंने उपायुक्तों को निर्देश दिए कि उनके जिलों में एमटीपी किट की अवैध बिक्री न हो। इसके अलावा, नियमित निरीक्षण और अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई भी सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि लिंग-निर्धारण संबंधी प्रथाओं में लिप्त पाए जाने वाले किसी भी डॉक्टर के खिलाफ कड़ी अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी और हरियाणा मेडिकल काउंसिल द्वारा उनके लाइसेंस को भी रद्द किया जाएगा।
इसके अलावा, 12 सप्ताह से अधिक के सभी गर्भपातों की गहन जांच की जाए, खासकर उन मामलों में जहां दंपति के पास पहले से ही एक या अधिक बेटियां हैं। सिविल सर्जनों को इन जांचों का नेतृत्व करने और कड़ी निगरानी रखने के निर्देश दिए गए। उन्होंने निर्देश दिए कि किसी भी संदिग्ध एमटीपी मामले को ट्रैक किया जाए और कानूनी कार्रवाई की जाए। 10 सप्ताह से पहले हर गर्भावस्था का एएनसी पंजीकरण सुनिश्चित किया जाए और इस संबंध में औपचारिक आदेश जारी किए जाएं।
उन्होंने कहा कि एक या अधिक बेटियों वाली सभी गर्भवती महिलाओं को परामर्श देने और उनकी गर्भावस्था की निगरानी करने के लिए आशा या आंगनवाड़ी वर्कर को सहेली के रूप में नियुक्त किया जा रहा है। इन महिलाओं और उनकी सहेली का रिकॉर्ड सिविल सर्जन द्वारा रखा जाएगा। गर्भपात की स्थिति में, संबंधित आशा या आंगनवाड़ी वर्कर के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी।
सीएचसी (शहरी और ग्रामीण) के एसएमओ इंचार्ज लिंगानुपात सुधार से संबंधित गतिविधियों के लिए उत्तरदायी होंगे। लिंगानुपात में सुधार के लिए सीएचसी-वार रणनीति तैयार की जाएगी। इसके अलावा, जिला प्रशासन को सूचना, शिक्षा और संचार (आईईसी) अभियानों का विस्तार करने और धार्मिक व सामाजिक संस्थाओं को साथ जोड़ने के निर्देश दिए, ताकि लैंगिक समानता और कन्याओं के महत्व का संदेश जन-जन तक पहुंच सके।
…….
हरियाणा 112 की दक्षता में उल्लेखनीय सुधार
2.31 करोड़ से अधिक कॉल अटेंड कीं, इमरजेंसी से निपटने के लिए भेजे गए 46.60 लाख वाहन
पुलिस और मेडिकल रेस्पॉन्स टाइम में आई तेजी
जुलाई में लॉन्च होगा ’एआई-आधारित ऑटो-डिस्पैच सिस्टम
चंडीगढ़, 14 मई-हरियाणा 112 आपातकालीन प्रतिक्रिया सहायता प्रणाली (ईआरएसएस) ने अपनी आपातकालीन प्रतिक्रिया दक्षता में उल्लेखनीय प्रगति की है। अप्रैल 2025 के हालिया प्रदर्शन अपडेट में यह बात सामने आई है। लॉन्च होने के बाद से, इस सिस्टम ने 2.31 करोड़ से अधिक कॉल अटेंड कीं और प्रदेशभर में आपात स्थितियों से निपटने के लिए 46.60 लाख वाहन भेजे गए।
यह जानकारी आज यहां मुख्य सचिव श्री अनुराग रस्तोगी की अध्यक्षता में 112 ईआरएसएस की राज्य अधिकार-प्राप्त समिति (एसईसी) की 13वीं बैठक के दौरान दी गई।
मुख्य सचिव ने बताया कि इन आंकड़ों से सेवा उपयोग में लगातार वृद्धि और बेहतर रेस्पॉन्स टाइम का पता चलता है। अकेले अप्रैल 2025 में ही 6,06,039 कॉल अटेंड की गईं, जबकि अप्रैल 2024 में 5,35,111 और अप्रैल 2022 में 4,68,359 कॉल अटेंड की गई थीं। इस दौरान डिस्पैच रेट में भी लगातार वृद्धि देखी गई है। अप्रैल 2025 में अटेंड की गईं 30 प्रतिशत कॉल के परिणामस्वरूप वाहन तैनाती हुई, जबकि 2024 में यह 24 प्रतिशत और 2022 में 17 प्रतिशत रही।
मुख्य सचिव श्री अनुराग रस्तोगी ने बताया कि विभिन्न सेवाओं में रेस्पॉन्स टाइम में उल्लेखनीय कमी देखी गई है। पुलिस रेस्पॉन्स टाइम अप्रैल 2022 के 12 मिनट 4 सेकंड से घटकर अप्रैल 2025 में केवल 7 मिनट 3 सेकंड रह गया। मेडिकल इमरजेंसी रेस्पॉन्स टाइम 2022 के 25 मिनट 44 सेकंड से बढ़कर 2025 में 12 मिनट 50 सेकंड रह गया। अप्रैल 2025 में अग्निशमन सेवा का रेस्पॉन्स टाइम 32 मिनट 50 सेकंड रहा, जो पिछले वर्षों के मुकाबले स्थिर रहा।
उन्होंने बताया कि एक महत्वपूर्ण उपलब्धि के तौर पर 108 आपातकालीन हेल्पलाइन प्रणाली का राज्यव्यापी एकीकरण निर्धारित समय-सीमा के भीतर सफलतापूर्वक पूरा कर लिया गया है। एकीकरण प्रक्रिया के तहत प्रदेष के हर जिले में पांच आपातकालीन प्रतिक्रिया वाहन (ईआरवी) तैनात किए गए हैं, जिससे आपातकालीन सेवाओं की क्षमता और पहुंच बढ़ी है। इसके अतिरिक्त, सभी 575 एम्बुलेंस के साथ 108 हेल्पलाइन का पूर्ण एकीकरण नवंबर 2024 में सफलतापूर्वक पूरा हो गया। इस एकीकरण का उद्देश्य कुशल चिकित्सा सहायता प्रदान करना है, ताकि प्रदेशभर में त्वरित और अधिक समन्वित आपातकालीन प्रतिक्रिया सुनिश्चित हो सके।
गृह विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ. सुमिता मिश्रा ने प्रदेष के सभी जिलों में अस्पतालों की मैपिंग करने की आवश्यकता जताई ताकि सड़क दुर्घटना पीड़ितों को कम से कम समय में चिकित्सा सहायता मुहैया करवाई जा सके।
डॉ. मिश्रा ने बताया कि हरियाणा ने यात्रा के दौरान महिलाओं की सुरक्षा बढ़ाने के लिए नवंबर 2023 में ट्रिप मॉनिटरिंग सर्विस (टीएमएस) शुरू की थी। यह सेवा महिलाओं को राज्य आपातकालीन प्रतिक्रिया केंद्र (एसईआरसी) में दो समर्पित डेस्क के साथ व्हाट्सएप के माध्यम से अपनी लाइव लोकेशन स्थान साझा करने की अनुमति देती है। इसके माध्यम से 300 से अधिक यात्राओं को सफलतापूर्वक ट्रैक किया जा चुका है। इसके अतिरिक्त, राज्य ने लगभग 94,000 कामकाजी महिलाओं और छात्राओं का एक सत्यापित डेटाबेस बनाया है, जो आपात स्थिति के दौरान त्वरित पहचान और प्रतिक्रिया सुनिश्चित करने में मदद करता है। इसके अलावा, 87,000 से अधिक पंजीकृत ऑटो-रिक्शा का डेटाबेस भी सिस्टम में एकीकृत किया गया है ताकि इन वाहनों से जुड़ी घटनाओं के दौरान रेस्पॉन्स टाइम में सुधार हो सके।
डॉ. मिश्रा ने बताया कि बैठक में हरियाणा के समर्पित साइबर अपराध बुनियादी ढांचे की भी समीक्षा की गई। उन्होंने बताया कि पंचकूला में एसईआरसी में 54 साइबर क्राइम रिपोर्टिंग टर्मिनल और प्रमुख बैंकों के 16 नोडल अधिकारी तैनात किए गए हैं। इस व्यवस्था से साइबर धोखाधड़ी के मामलों में प्रतिक्रिया में उल्लेखनीय तेजी आई है। अकेले 2024 में, साइबर हेल्पलाइन पर 7.25 लाख कॉल प्राप्त हुईं और धोखाधड़ी की रिपोर्ट से जुड़े 980 करोड़ रुपये में से 268.40 करोड़ रुपये सफलतापूर्वक बचाए गए। ऐसे मामलों में रिकवरी दर 27 प्रतिशत रही, जो पिछले वर्ष की तुलना में दोगुनी से भी अधिक है।
बैठक में बताया गया कि हरियाणा 112 ने चेतावनी के बाद अपमानजनक (अब्यूसिव) कॉल करने वालों को स्वचालित रूप से ब्लॉक करने की व्यवस्था शुरू की है, जिससे आपातकालीन सेवाओं के दुरुपयोग में कमी आएगी। बार-बार अपराध करने वालों पर नजर रखी जाती है और पाँचवीं बार ऐसा होने पर उनके स्थान पर इमर्जेंसी रेस्पॉन्स व्हीकल (ईआरवी) भेजा जाता है। इस रणनीति के चलते अपमानजनक कॉल की संख्या में उल्लेखनीय कमी आई है।
आपातकालीन सेवाओं को और बेहतर बनाने के लिए, हरियाणा ने एम्बुलेंस और अग्निशमन वाहनों में बेहतर समन्वय के लिए सिम कनेक्टिविटी और मोबाइल डिवाइस प्रबंधन लाइसेंस के साथ 423 मोबाइल डेटा टर्मिनल (एमडीटी) खरीदे हैं। बजट सीमा के भीतर संचालन दक्षता को बेहतर बनाने के लिए यूपीएस सिस्टम, मॉनिटर और आईपी फोन जैसे अतिरिक्त नेटवर्क घटक लगाए गए हैं।
चूंकि हरियाणा 112 का वर्तमान चरण आगे बढ़ रहा है, इसके दूसरे के लिए राज्य अधिकार-प्राप्त समिति ने कई रणनीतिक सुधारों को भी मंजूरी दी है। गृह विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव डाॅ. सुमिता मिश्रा ने बताया कि एक महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकी उन्नयन के तहत, मैनुअल डिस्पैच सिस्टम के बदले कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) से संचालित ऑटो-डिस्पैच सिस्टम शुरू किया जाएगा। इसका उद्देश्य देरी को कम करना और प्रतिक्रिया समय में सुधार करना है। प्रदेश में ऑटो-डिस्पैच सिस्टम जुलाई 2025 में पायलट आधार पर शुरू किया जाएगा।
बैठक में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री सुधीर राजपाल, पुलिस महानिदेशक श्री शत्रुजीत कपूर के अलावा विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।
……
विशेषज्ञ चिकित्सकों की नियुक्ति से सुदृढ़ होंगी स्वास्थ्य सेवाएं: कैबिनेट मंत्री कुमारी आरती सिंह राव
चंडीगढ़, 14 मई – हरियाणा सरकार प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं को और अधिक सुदृढ़ एवं सुलभ बनाने के लिए प्रतिबद्ध है। इस दिशा में राज्य के विभिन्न चिकित्सा संस्थानों में विशेषज्ञ चिकित्सकों की नियुक्ति को प्राथमिकता दी जा रही है।
हरियाणा की स्वास्थ्य मंत्री कुमारी आरती सिंह राव ने जानकारी देते हुए बताया कि नूंह जिले में स्थित नल्हड़ के शहीद हसन खान मेवाती राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय में कोरियावास स्थित महर्षि च्यवन चिकित्सा महाविद्यालय के लिए सीनियर रेजिडेंट की नियुक्ति के लिए 8 से 10 मई, 2025 तक साक्षात्कार आयोजित किए गए है।
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि यह प्रक्रिया चिकित्सा महाविद्यालय में विशेषज्ञ चिकित्सकों की नियुक्ति करने, चिकित्सा शिक्षा को सुदृढ़ करने तथा आम नागरिकों को गुणवत्तापूर्ण उपचार उपलब्ध कराने की दिशा में एक प्रभावी कदम है।
इन विशेषज्ञ चिकित्सकों की नियुक्ति जनरल सर्जरी, जनरल मेडिसिन, ऑर्थोपैडिक्स, एनेस्थीसिया, चर्म एवं यौन रोग, पैथोलॉजी, एनाटॉमी आदि शाखाओं में की गई है।
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि फिलहाल यह चयन प्रोविजनल है तथा अभ्यर्थियों का अंतिम चयन मूल दस्तावेजों के सत्यापन के बाद ही मान्य होगा। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार का उद्देश्य प्रदेश के प्रत्येक नागरिक को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध करवाना तथा सभी जिलों में चिकित्सकों की उपलब्धता सुनिश्चित करना है। यह नियुक्ति प्रक्रिया इस दिशा में एक सशक्त एवं सार्थक प्रयास है, जिससे हरियाणा में स्वास्थ्य सेवाएं मजबूत होंगी।
……
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने 25 नव-नियुक्त खंड विकास एवं पंचायत अधिकारियों (बीडीपीओ) को सौंपे नियुक्ति पत्र
विकसित भारत की यात्रा की पटकथा लिखने में नवनियुक्त बीडीपीओ की होगी महत्ती भूमिका – मुख्यमंत्री
हरियाणा में समाप्त हुआ खर्ची-पर्ची का दौर, अब मेरिट के आधार पर मिलती हैं सरकारी नौकरियाँ – नायब सिंह सैनी
चंडीगढ़, 14 मई – हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने आज 25 नव-नियुक्त खंड विकास एवं पंचायत अधिकारियों को नियुक्ति पत्र सौंपे। मुख्यमंत्री ने इस उपलब्धि पर बीडीपीओ को बधाई दी और कहा कि वे ग्रामीण हरियाणा के भविष्य को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएँगे।
मुख्यमंत्री आज उनके आवास संत कबीर कुटीर पर आयोजित कार्यक्रम में नव-नियुक्त अधिकारियों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के 2047 तक भारत को ‘विकसित भारत’ बनाने के विजन को साकार करने में खंड विकास एवं पंचायत अधिकारियों की महत्ती भूमिका होगी। विकसित भारत की यात्रा लिखने की पटकथा का काम आपके हाथ से होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इन अधिकारियों के नियुक्त होने से विभाग में बीडीपीओ की कमी पूरी होगी। उन्होंने कहा कि ग्रामीण प्रशासन के अग्रिम पंक्ति के अधिकारी होने के नाते आप सभी की भूमिका केवल प्रशासनिक नहीं बल्कि परिवर्तनकारी भी है। आपको मजबूत ग्रामीण ढाँचा तैयार करने, पंचायती राज संस्थाओं को सशक्त बनाने और कल्याणकारी योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन की दिशा में कार्य करना होगा।
हरियाणा में समाप्त हुआ खर्ची-पर्ची का दौर, अब मेरिट के आधार पर मिलती हैं सरकारी नौकरियाँ
श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि आप सभी का चयन पूरी तरह मेरिट के आधार पर हुआ है। यह हरियाणा की नई कार्य संस्कृति का प्रतीक है। वर्तमान सरकार ने ‘खर्ची-पर्ची’ की व्यवस्था को समाप्त करके यह सुनिश्चित किया है कि केवल योग्य और पात्र अभ्यर्थियों को ही सरकारी सेवा में स्थान मिले। आज गरीब परिवारों के बच्चे भी बिना पर्ची और बिना खर्ची के अपनी मेहनत के बल पर एचसीएस और बीडीपीओ के पदों पर चयनित हो रहे हैं।
ईमानदारी व निष्ठा से कार्य करते हुए जन समस्याओं का करें समाधान
मुख्यमंत्री ने कहा कि बीडीपीओ के तौर पर आप सभी सरकार का चेहरा हैं, आमजन आपको सरकार के रूप में देखते हैं और बहुत सी अपेक्षाएं रखते हैं। बीडीपीओ गांव के साथ सीधे तौर पर जुड़े होते हैं, इसलिए गांव के विकास में और सरकार की योजनाओं को धरातल पर उतारने में आप सबकी मुख्य भूमिका रहेगी। लोगों की जो अपेक्षाएं आपसे होंगी, उन अपेक्षाओं पर सदैव खरा उतरने का काम करें और हमेशा ईमानदारी से काम करें। उन्होंने कहा कि जब भी कोई आमजन आपके पास आए तो उसकी बात को धैर्यपूर्वक सुनकर उनकी समस्या का समाधान करे और जनसेवा के अपने दायित्व का निर्वहन करें।
श्री नायब सिंह सैनी ने विश्वास व्यक्त किया कि नव-नियुक्त बीडीपीओ सरकार के भरोसे पर खरा उतरेंगे और ग्रामीण हरियाणा में तीव्र और प्रभावी विकास को गति देंगे। उन्होंने कहा कि आज हम केवल अधिकारियों की नियुक्ति नहीं कर रहे, बल्कि हम अपने गाँवों को नई ऊर्जा और उत्तरदायी नेतृत्व से सशक्त बना रहे हैं।
उल्लेखनीय है कि भर्ती प्रक्रिया का आयोजन हरियाणा लोक सेवा आयोग द्वारा किया गया था और मार्च 2024 में हरियाणा सिविल सेवा की मुख्य परीक्षा आयोजित की गई थी। साक्षात्कार के बाद, विभिन्न पदों के लिए 113 उम्मीदवारों का चयन किया गया, जिनमें से 34 उम्मीदवारों का बीडीपीओ के पद के लिए चयन हुआ था। हालांकि, एक सिविल याचिका के कारण यह नियुक्ति प्रक्रिया कुछ समय के लिए अदालत में लंबित रही। राज्य सरकार ने न्याय और प्रक्रिया की पारदर्शिता सुनिश्चित करने हेतु पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय में इस मामले की सक्रिय रूप से पैरवी की। लगभग 11 माह की न्यायिक प्रक्रिया के बाद मामला सुलझा और अंतिम नियुक्तियाँ संभव हो सकीं। आज के कार्यक्रम में उपस्थित 25 अभ्यर्थियों को मुख्यमंत्री ने नियुक्ति पत्र सौंपे।
ईमानदारी से काम करते हुए हरियाणा सरकार के अंत्योदय उत्थान व ग्रामीण विकास के ध्येय को आगे बढ़ाएं – विकास एवं पंचायत मंत्री कृष्ण लाल पंवार
विकास एवं पंचायत मंत्री कृष्ण लाल पंवार ने नवनियुक्त बीडीपीओ को बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए कहा कि आप सभी निष्ठा और ईमानदारी से काम करें और हरियाणा सरकार के अंत्योदय उत्थान व ग्रामीण विकास के ध्येय को आगे बढ़ाने का काम करें। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों का समग्र विकास तभी संभव है जब प्रशासनिक अधिकारी जनसरोकारों को प्राथमिकता देते हुए पारदर्शिता और संवेदनशीलता के साथ कार्य करें। आप सभी अधिकारी गाँवों के लिए एक प्रेरणा स्त्रोत बनें और पंचायती राज संस्थाओं को मजबूत बनाने में सक्रिय भूमिका निभाएँ।
इस अवसर पर महाधिवक्ता परविंदर चौहान, विकास एवं पंचायत विभाग के आयुक्त एवं सचिव डॉ अमित अग्रवाल, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव डॉ साकेत कुमार, विकास एवं पंचायत विभाग के निदेशक डीके बेहरा, मुख्यमंत्री के ओएसडी भारत भूषण भारती सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।
….
38वें राष्ट्रीय खेलों में प्रदेश के पदक विजेता खिलाड़ियों को किया जाएगा सम्मानित
21 मई को रोहतक में आयोजित होगा राज्य स्तरीय सम्मान समारोह
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी होंगे मुख्य अतिथि
चंडीगढ़, 14 मई- हरियाणा खेल विभाग द्वारा 21 मई को रोहतक में राज्य स्तरीय सम्मान समारोह आयोजित किया जाएगा, जिसमें उत्तराखंड में हुए 38वें राष्ट्रीय खेलों में प्रदेश के स्वर्ण, रजत व कांस्य पदक विजेता खिलाड़ियों को सम्मानित किया जाएगा। इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी बतौर मुख्य अतिथि शिरकत करेंगे।
हरियाणा के खेल राज्य मंत्री श्री गौरव गौतम ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि राष्ट्रीय खेलों में हरियाणा के खिलाड़ियों का दबदबा रहा। इन खेलों में हमारे खिलाड़ियों ने पदक जीतने के साथ-साथ देश और प्रदेश का दिल भी जीता है।
153 पदकों के साथ प्रदेश ने हासिल किया तीसरा स्थान
खेल राज्य मंत्री ने कहा कि उत्तराखंड में 28 जनवरी से 14 फरवरी तक आयोजित हुए राष्ट्रीय खेलों में हरियाणा के खिलाड़ियों ने 153 पदक जीते, जिसमें 48 स्वर्ण, 47 रजत और 58 कांस्य पदक शामिल हैं। पदक तालिका में हरियाणा ने तीसरा स्थान हासिल किया। इन खेलों में हरियाणा के कुल 689 खिलाड़ियों और लगभग 200 स्पोर्ट स्टाफ ने भाग लिया था।
श्री गौरव गौतम ने कहा कि हरियाणा के खिलाड़ी ओलंपिक, विश्व चैंपियनशिप, एशियन गेम्स व कॉमनवेल्थ गेम्स में पदक जीतकर विश्व भर में अपनी प्रतिभा का डंका बजा रहे हैं। खिलाड़ियों को इस मुकाम तक पहुंचाने में हरियाणा की खेल नीति का भी अहम योगदान है। हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने वर्ष 2025-26 के लिए खेल विभाग का 1961.79 करोड़ रुपये बजट आवंटित किया है। जबकि पिछले साल खेलों का बजट 1381.79 करोड़ रुपये था। बजट में खेल के मैदानों, खेल सामग्री को बढ़ावा देने व बीमा योजना को लागू करने का पूरा ख्याल रखा गया है। इसी तरह से युवाओं के कौशल को और निखारने पर भी बल दिया गया है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय, चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, गुरु जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय तथा इंदिरा गांधी विश्वविद्यालय रेवाड़ी में नए उत्कृष्टता केंद्र खोले जाएंगे। उन्होंने कहा कि राज्य खेल परिसरों के बेहतर संचालन व रख-रखाव के लिए पायलट आधार पर दो खेल परिसरों को पीपीपी मोड पर चलाने के लिए दिया जाएगा। अगर इस प्रयोग के नतीजे अच्छे आते हैं तो कुछ अन्य परिसरों को भी इसी नीति से चलाने के लिए चिन्हित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में खेल नर्सरियों की संख्या 1500 से ब