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हरियाणा सरकार और राष्ट्रीय फोरेंसिक विज्ञान विश्वविद्यालय, गांधीनगर के मध्य हुआ एमओयू

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल और मुख्यमंत्री नायब सिंह रहे उपस्थित

उत्कृष्टता केंद्र बनने से हरियाणा में आपराधिक न्याय प्रणाली और मजबूत होगी

चंडीगढ़, 29 जून।
सुनील कुमार जांगड़ा.

हरियाणा में चिन्हित अपराध मामलों के लिए फोरेंसिक विज्ञान में प्रशिक्षण और प्रयोगशाला परीक्षण सुविधाओं में उत्कृष्टता केंद्र की स्थापना हेतु आज हरियाणा सरकार तथा राष्ट्रीय फोरेंसिक विज्ञान विश्वविद्यालय, गांधीनगर, गुजरात के मध्य एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए गए। इस अवसर पर केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह, केंद्रीय ऊर्जा, आवास एवं शहरी मामलों के मंत्री श्री मनोहर लाल, हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह और हरियाणा विधानसभा के अध्यक्ष श्री ज्ञान चंद गुप्ता सहित अन्य मंत्रीगण एवं वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित रहे ।

उल्लेखनीय है कि केंद्रीय गृह मंत्री की अध्यक्षता में सूरजकुंड में आयोजित चिंतन शिविर में लिए गए निर्णय के अनुसरण में यह एमओयू हुआ है। इस एमओयू का उद्देश्य फोरेंसिक और अभियोजन प्रशिक्षण, अनुसंधान और फोरेंसिक नमूनों के परीक्षण के क्षेत्र में सहयोगात्मक गतिविधियों के विकास को सुगम बनाना और उसे और मजबूत बनाना है। इस समझौता ज्ञापन के तहत परिकल्पित, फोरेंसिक विज्ञान में प्रशिक्षण और प्रयोगशाला परीक्षण सुविधाओं में एक मजबूत, अत्याधुनिक, उत्कृष्टता केंद्र स्थापित किया जाएगा और एनएफएसयू अनुसंधान के साथ-साथ फोरेंसिक नमूनों के परीक्षण का मार्गदर्शन करेगा और विशेषज्ञ ज्ञान भी प्रदान करेगा।

उत्कृष्टता केंद्र बनने से हरियाणा में आपराधिक न्याय प्रणाली और मजबूत होगी
हरियाणा लोक प्रशासन संस्थान के तत्वावधान में, न्यायिक अधिकारियों, सरकारी अभियोजकों, पुलिस और अन्य जांच एजेंसियों को फोरेंसिक विश्लेषण और आपराधिक न्याय वितरण के अन्य पहलुओं में एनएफएसयू के परामर्श से प्रशिक्षण दिया जाएगा। इस उत्कृष्टता केंद्र के बनने से हरियाणा में आपराधिक न्याय प्रणाली और मजबूत होगी। यह कदम हरियाणा राज्य को “चिन्हित अपराध” योजना के तहत परिकल्पित आदर्शों को प्राप्त करने में और मदद करेगा, जिसके तहत राज्य सरकार का लक्ष्य गंभीर और जघन्य अपराधों की पहचान करना और विशेष रूप से 6 या अधिक वर्षों के कारावास वाले अपराधों के लिए कार्रवाई योग्य फोरेंसिक साक्ष्य एकत्र करना और ऐसे मामलों के लिए त्वरित और प्रभावी परीक्षण सुनिश्चित करना है, जिससे सजा दर में वृद्धि हो और राज्य में समग्र सुरक्षा में सुधार हो।

उल्लेखनीय है कि हरियाणा सरकार ने पहले ही ड्रग्स और साइकोट्रोपिक पदार्थों (एनडीपीएस अधिनियम के तहत) के परीक्षण के लिए एनएफएसयू के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए हैं। यह समझौता ज्ञापन इस सहयोग को और मजबूत करेगा।  हरियाणा में 50 एकड़ भूमि पर राष्ट्रीय फोरेंसिक विज्ञान विश्वविद्यालय का एक क्षेत्रीय परिसर स्थापित करने का प्रस्ताव हरियाणा सरकार द्वारा गृह मंत्रालय को विचारार्थ पहले ही भेजा जा चुका है।

इस अवसर पर मुख्य सचिव टी.वी.एस.एन. प्रसाद, एनएफएसयू के कुलपति डॉ. जे.एम. व्यास, वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी, पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर, महानिदेशक अभियोजन संजय हुड्डा, हिपा की महानिदेशक चंद्रलेखा मुखर्जी सहित अन्य गणमान्य अतिथि उपस्थित रहे। prharyana.gov.in

https://haryanaudaynews.com/faridabad/1651/

By HUWeb

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